यादव सिंह की तिजोरियों में ऐसा क्या है, सीबीआई करेगी खुलासा
07/07/2016
नोएडा विकास प्राधिकरण के पूर्व चीफ इंजीनियर यादव सिंह की गिरफ्तारी के बाद सीबीआई एक बार फिर यादव सिंह के देवरी रोड के अमित नगर स्थित मकान हरी कोठी पर छापा मारने जा सकती है। वहां पर केंद्रीय जांच एजेंसी ने बीते साल चार अगस्त को भी छापामारी कर चुकी है। लेकिन तब उसकी तिजोरियों के चीन निर्मित मजबूत ताले की वजह से तिजोरी खुल नहीं पायी थी। अब यादव सिंह से चाबी लेकर तिजोरी खोला जा सकता है। तालों के साथ काली कमाई के कुबेर के कई राज के खुलसे हो सकते हैं।
पिछले छापे में सीबीआई ने पहले खुद जोर लगाया। इसके बाद शहर से ताले खोलने के तीन एक्सपर्ट को बुलाए, लेकिन सब हार गए। दो कमरों में रखी हुई लोहे की इन तिजोरियों के ताले खुल ही नहीं पाए थे। इनके साथ कई अन्य अलमारियों को भी नहीं खोला जा सका था। पूर्व चीफ इंजीनियर यादव सिंह के पास ही इन तिजोरियो की चाबी बताई गई थी। अब उसकी गिरफ्तारी के बाद चाबी हासिल करना सीबीआई के लिए ज्यादा मुश्किल नहीं रह गया है। आगरा के बाद सीबीआई की टीम ने उसकी फीरोजाबाद के मोहल्ला दुली स्थित ससुराल में भी छापा मारा था। यहां भी ताले नहीं खुल पाए थे।
यादव सिंह की शादी दुली के राम प्रसाद की सबसे छोटी बेटी कुसुमलता से 1980 में हुई थी यादव सिंह के खिलाफ केस दर्ज हो जाने के बाद पहले सीबीआई ने उसके 14 ठिकानों पर छापे मारे। इसके पश्चात कुल संपत्ति का ब्योरा जुटाया। आगरा तहसील से भी यादव सिंह और उसकी पत्नी के नाम दर्ज सभी संपत्तियों का विवरण मांगा गया था। तहसील जानकारों के मुताबिक, उसकी करोड़ों की संपत्ति है। सभी संपत्तियों का ब्योरा भेजा जा चुका था। यादव सिंह के पड़ोसियों के मुताबिक सीबीआई जांच में फंसने से पहले ही वह अपनी ‘हरी कोठी’ में अक्सर आया करते थे। यादव के साथ उसके परिवार के सभी लोग आते थे। लेकिन सीबीआई का शिकंजा कसने के बाद सिर्फ एक बार आये थे।
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